सुबह शाम भजन कर ले मुक्ति का यतन कर ले भजन लिरिक्स | SUBAH SHAM BHAJAN KAR LE BHAJAN LYRICS |

सुबह शाम भजन कर ले मुक्ति का यतन कर ले भजन लिरिक्स
 | SUBAH SHAM BHAJAN KAR LE BHAJAN LYRICS |

सुबह शाम भजन कर ले,
मुक्ति का यतन कर ले,
मिट जाएँगे जनम मरण,
प्रभु का सुमिरन कर ले,
सुबह शाम भजन कर ले।

ये मानव का चोला हर बार नहीं मिलता,
जो गिर जाए डालीं से वो फूल नहीं खिलता,
मौक़ा है जीवन का गुलज़ार चमन कर ले,
सुबह शाम भजन कर ले,
मुक्ति का यतन कर ले।

नर इन कानो से सुन तू संतो की बानी,
मन को ठहरा कर के बन जा आत्म ज्ञानी,
जब जीभ चले मुख में तब राम भजन कर ले,
सुबह शाम भजन कर ले,
मुक्ति का यतन कर ले।

इस मैली चादर पे हैं दाग लगे कितने,
पर ज्ञान के साबुन से हैं झाग बने कितने,
धुल जाएगी सब स्याही उजला तन मन कर ले,
सुबह शाम भजन कर ले,
मुक्ति का यतन कर ले।

सुबह शाम भजन कर ले,
मुक्ति का यतन कर ले,
मिट जाएँगे जनम मरण,
प्रभु का सुमिरन कर ले,
सुबह शाम भजन कर ले।

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